बिहार बजट 2025: तेजस्वी यादव का बड़ा बयान

उन्होंने कहा कि बिहार में अधिकारी मुख्यमंत्री आवास से निर्देशित होते हैं और किसी की नहीं सुनते।

बिहार विधानसभा में आज का दिन काफी गर्मागर्म बहस से भरा रहा। नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उनकी सरकार पर जोरदार हमला बोला। तेजस्वी यादव ने बिहार में प्रशासनिक भ्रष्टाचार का मुद्दा उठाया और खासतौर पर सीओ (अंचलाधिकारी) के ट्रांसफर और पोस्टिंग पर सवाल खड़े किए। उन्होंने कहा कि बिहार में अधिकारी मुख्यमंत्री आवास से निर्देशित होते हैं और किसी की नहीं सुनते।

अधिकारियों को चेतावनी

तेजस्वी यादव ने सदन में घोषणा की कि जब उनकी सरकार आएगी तो यही अधिकारी बैठकर नहीं बल्कि खड़े होकर काम करेंगे। उनका इशारा था कि प्रशासन में व्याप्त भ्रष्टाचार पर उनकी सरकार सख्त कार्रवाई करेगी और आम जनता को बेवजह परेशान करने वाले अधिकारियों को सुधारने का काम करेगी। तेजस्वी ने यह भी कहा कि वर्तमान सरकार में अधिकारी मनमानी कर रहे हैं क्योंकि वे सीधे मुख्यमंत्री कार्यालय से निर्देश पाते हैं।

भ्रष्टाचार पर हमला

तेजस्वी यादव ने बिहार में सीओ ऑफिस में फैले भ्रष्टाचार पर भी जमकर हमला बोला। उन्होंने आरोप लगाया कि 2008 से अब तक दाखिल-खारिज और जमाबंदी से जुड़े 1 करोड़ वाद दायर किए गए, जिनमें से 55 लाख वादों को रिजेक्ट कर दिया गया। उन्होंने यह भी दावा किया कि आज भी रिश्वत न देने के कारण करीब 2 लाख मामले लंबित पड़े हैं।

तेजस्वी यादव ने कहा कि सीओ (अंचलाधिकारी) इतने शक्तिशाली हो गए हैं कि वे डीएम (जिला अधिकारी) की भी नहीं सुनते। उनका सीधा इशारा इस बात की ओर था कि ये अधिकारी पूरी तरह से मुख्यमंत्री आवास के नियंत्रण में हैं और उन्हीं के इशारों पर काम करते हैं।

सरकार की कार्यप्रणाली पर सवाल

तेजस्वी यादव ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए कहा कि चाहे वे महागठबंधन के साथ सरकार बनाएं या एनडीए के साथ, लेकिन प्रशासन की स्थिति जस की तस बनी हुई है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री कार्यालय के चुनिंदा अधिकारी ही सब कुछ नियंत्रित कर रहे हैं और बाकी मंत्री व विभाग केवल नाम के लिए हैं।

उन्होंने कहा कि पहले रामसूरत राय, आलोक मेहता और दिलीप जायसवाल जैसे कई मंत्री रहे, लेकिन उनका ट्रांसफर-पोस्टिंग से कोई लेना-देना नहीं था। हर चीज़ मुख्यमंत्री आवास से नियंत्रित की जाती थी। तेजस्वी ने व्यंग्यात्मक लहजे में कहा कि “बस सीएम आवास ही ईमानदार है, बाकी सब मंत्री और अधिकारी भ्रष्ट हैं।”

भविष्य की सरकार का वादा

तेजस्वी यादव ने सदन के सभी सदस्यों से पूछा कि क्या बिहार में सीओ ऑफिस में भ्रष्टाचार नहीं हो रहा है? उन्होंने कहा कि बिना रिश्वत दिए सीओ ऑफिस में कोई काम नहीं होता और आम जनता को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।

उन्होंने कहा कि जब उनकी सरकार आएगी, तो भ्रष्ट अधिकारियों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने वादा किया कि उनकी सरकार में अधिकारी बिना रिश्वत के, पूरी ईमानदारी से आम जनता का काम करेंगे। उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर तंज कसते हुए कहा कि जब किसी शासक की साख (इकबाल) खत्म हो जाती है, तो फिर उसकी बात चौकीदार भी नहीं सुनता। और आज की स्थिति यही है कि मुख्यमंत्री की बात उनके ही अधिकारी नहीं सुनते।
तेजस्वी यादव ने बिहार विधानसभा में एक बार फिर भ्रष्टाचार के मुद्दे को जोर-शोर से उठाया और सरकार की कार्यशैली पर सवाल खड़े किए। उन्होंने यह स्पष्ट संकेत दिया कि अगर उनकी सरकार बनती है, तो प्रशासन में बड़ा बदलाव किया जाएगा और भ्रष्टाचार पर सख्त कार्रवाई होगी। अब देखना यह होगा कि बिहार की राजनीति में यह बयान क्या नया मोड़ लाता है और आगामी चुनावों पर इसका क्या असर पड़ता है।

Show Comments (0) Hide Comments (0)
0 0 votes
Article Rating
Subscribe
Notify of
guest

0 Comments
Oldest
Newest Most Voted
Inline Feedbacks
View all comments
Recent Posts:
0
Would love your thoughts, please comment.x
()
x